हिमालय और भृगुगंगा से आप्त भिलंगना क्षेत्र का पौराणिक महत्त्व है : श्री श्रीकृष्ण सेमवाल
हिमालय और भृगुगंगा से आप्त भिलंगना क्षेत्र का पौराणिक महत्त्व है।
अध्यात्म,तप साधना,दिव्य स्थलों और संस्कृत ज्ञान के लिए प्रसिद्ध भिलंगना घाटी से पहाड़ के गांधी इंद्रमणि बडोनी जी भी इन्हीं गुणों से आकर्षित हुए होंगे। उत्तराखंड सरकार के संस्कृत प्रसार कार्यक्रमों में जब मुझे यहां जाने का सौभाग्य मिला तो वहां के विराट सौंदर्य सत और सकारात्मक परिवेश को देखकर मैं भी अभिभूत हुआ हूं। आज खुशी हो रही है जब यहां भिलंगना क्षेत्र विकास समिति के माध्यम से वहां के नौनिहाल उस एक पावन घाटी ही नहीं, बल्कि देवभूमि के सात्त्विक प्रतिरूप को भी प्रदर्शित कर रहे हैं।
ये विचार भिलंगना क्षेत्र विकास समिति द्वारा नई दिल्ली के झंडेवालान स्थित बद्रीनारायण धाम गढ़वाल भवन में आयोजित भिलंगना घाटी महोत्सव -2023 में मुख्य अतिथि के रूप में संस्कृत के जाने माने शीर्ष विद्वान श्री श्रीकृष्ण सेमवाल ने व्यक्त किए।
समारोह के अतिविशिष्ट अतिथि डॉक्टर गोस्वामी गिरधारी लाल प्राच्य विद्या प्रतिष्ठान के निदेशक डॉक्टर जीतराम भट्ट ने कहा कि भिलंगना घाटी महोत्सव में एक साथ बाल,महिला,युवा और बुजुर्ग शक्ति की प्रभावी उपस्थिति तो उत्साहवर्धक है ही इससे बड़ी है उन घाटियों की पहचान को अभिव्यक्त करती शानदार प्रस्तुतियां।
समारोह के अतिविशिष्ट अतिथि, पाञ्चजन्य से जुड़े और गढ़वाल हितैषिणी सभा के महासचिव श्री मंगल सिंह नेगी ने कहा कि विभिन्न पट्टियों और जिलों के नाम पर स्थापित हमारी संस्थाएं बेजोड़ कार्य कर रही हैं और भिलंगना क्षेत्र विकास समिति एक ऐसी अद्वितीय संस्था है जिसने 27 वर्ष से इतने बड़े प्रखंड की समस्याओं के लिए निरंतर कागजी कार्यवाही की हैं पर साथ ही अपनी पहचान और मौलिक लोक संस्कृति को गौरव के साथ दिल्ली एनसीआर तक पहुंचाने का कार्य किया है।
ऑथर्स गिल्ड ऑफ इंडिया के महासचिव और दिल्ली सरकार के सलाहकार प्रो.शिवशंकर अवस्थी ने कहा कि दिल्ली में मैंने पहाड़ समाज के दर्जनों कार्यक्रम देखे हैं, लेकिन भिलंगना घाटी के इस भव्य उत्सव ने मुझे अत्यंत प्रभावित किया है।
समारोह के अतिविशिष्ट अतिथि भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के राष्ट्रीय सचिव श्री हरिपाल रावत ने कहा कि टिहरी बांध ने देश को बहुत कुछ दिया, उस बांध की कल्पना क्या भिलंगना के बिना संभव थी। हमारे नौजवान,सजग और शिक्षित मित्रों के माध्यम से अब हमारी संस्थाएं दिल्ली से संचालित होकर भी पहाड़ की सरकारों और वहां के जनप्रतिनिधियों को दिशा दिखाने का काम कर रही हैं। भिलंगना क्षेत्र विकास समिति से दिल्ली एनसीआर में बड़ी संख्या में प्रवासी लोग जुड़े हैं,क्षेत्र की आवाज को बुलंद करने के क्रम में समिति को मूल निवास,भू कानून और परिसीमन जैसे विषयों को लेकर भी नेतृत्व करने की आवश्यकता है।
दीप प्रज्वलन,शंख और घंटा ध्वनि के साथ भिलंगना घाटी के विद्वान आचार्यों, आचार्य मायाराम नौटियाल,आचार्य वीरेंद्र प्रसाद पैन्यूली,आचार्य वीरेंद्र भट्ट, डॉ.हरीश नौटियाल,आचार्य ज्योति प्रकाश सेमवाल,आचार्य महावीर नैनवाल और डॉ.मनोज डिमरी के मंगलाचरण के साथ भिलंगना घाटी महोत्सव का शुभारंभ हुआ।
इस अवसर पर वरिष्ठ पत्रकार व्योमेश जुगराण,भाजपा आर्थिक प्रकोष्ठ के संयोजक चार्टर्ड एकाउंटेंट राजेश्वर पैन्यूली,सामाजिक कार्यकर्ता एवं वरिष्ठ पत्रकार श्री चारु तिवारी और भाषा आंदोलन से जुड़े डॉ.बिहारी लाल जालंधरी का विशेष सम्मान किया गया।
दिल्ली एनसीआर में पहाड़ी भाषाओं के एंबेसडर माने जाने वाले कवियों ने सामयिक विषयों पर जीवंत कविताएं प्रस्तुत की। इनमें डॉ. पृथ्वी सिंह केदारखण्डी,सुषमा जुगरान ध्यानी,कवि बीर सिंह राणा,दिनेश ध्यानी, प्रदीप बेदवाल,रामेश्वरी नादान, उत्तम पंवार,जुयाल उपिरी और प्रदीप रावत आदि ने विभिन्न विषयों पर कविताएं प्रस्तुत की। बद्रीनारायण सभागार दोपहर डेढ़ बजे से शाम साढ़े 6 बजे तक पूरा भरा रहा। डेढ़ दर्जन से अधिक भिलंगना ब्लॉक के बुजुर्गों का मंच पर एक साथ भिलंगना वरिष्ठ नागरिक सम्मान से सम्मानित किया गया। इनमें प्रमुख हैं सौड़ गांव के आचार्य मायाराम नौटियाल और श्रीमती सुमन नौटियाल, महरगांव की पूर्व क्षेत्र पंचायत सदस्य और ग्राम रैत गांव की श्रीमती फूलदेई, ग्राम सटियाला के श्री भगत सिंह रौथाण,ग्राम सौड़ की श्रीमती जगदंबा भट्ट, अखोड़ी गांव की श्रीमती मुन्नी देवी,ग्राम चक्रगांव के श्री कुंवर सिंह राणा,ग्राम जंगरवाली के श्री नरोत्तम सेमवाल,ग्राम पोनी बासर के श्री राजेंद्र प्रसाद बसलियाल प्रमुख हैं। 5 दर्जन से अधिक भावी पीढ़ी के नौनिहालों को एक ही मंच पर सम्मानित किया गया। घुत्तू भिलंग से पधारे प्रतिभावान बच्चों ने राजेंद्र सिंह चौहान के निर्देशन में जीतू बगड्वाल नाटक का शानदार मंचन कर सबको सम्मोहित भी किया और कारुणिक करके रुलाया भी। जीतू और भरणा आदि के पात्रों के प्रभावी अभिनय से तो लोग आकर्षित हुए ही हुड़क्या की शानदार भूमिका से समिति के सांस्कृतिक सचिव और रंगकर्मी श्री राजेंद्र सिंह कैंतुरा ने भी रंग जमा दिया। गायक गौरव पंत,अदिति नौटियाल, सुशील गौड़, आकृति नौटियाल,सुहानी सती और दिवाकर सेमल्टी की शानदार गायकी के साथ छोटे बच्चों की एकल प्रस्तुतियां भी अद्वितीय रहीं। इस अवसर पर देश और विदेश में कार्यरत विभिन्न क्षेत्र में योगदान देने वाले भिलंगना घाटी के प्रतिभावान व्यक्तियों,सेवा अधिकारियों,उद्यमियों, शिक्षाविदों और समाजसेवी व्यक्तियों को भिलंगना गौरव विशिष्ट सेवा सम्मान प्रदान किए गए। इनमें प्रमुख हैं न्यूजीलैंड में व्यवसायरत श्री सुरेन्द्र सिंह राणा, राम सिंह पंवार,उम्मेद सिंह राणा, महावीर सिंह असवाल, एसीपी जयपाल सिंह रौथाण,
दिल्ली की विभिन्न संस्थाओं के पदाधिकारियों,पत्रकारों और सामाजिक कार्यकर्ताओं को भी सम्मानित किया गया।
समिति के महासचिव श्री शिव सिंह राणा ने वार्षिक वृत्त प्रस्तुत किया और अध्यक्ष आचार्य वीरेंद्र प्रसाद पैन्यूली एवं समस्त कार्यकारिणी सदस्यों ने आगंतुकों का स्वागत किया।
समारोह का संचालन समिति के संयोजक प्रो.सूर्य प्रकाश सेमवाल और कवि बीर सिंह राणा ने संयुक्त रूप से किया। समिति के सभी पदाधिकारियों और कार्यकारिणी सदस्यों के प्रयास से भिलंगना घाटी महोत्सव शानदार रहा।