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Uttrakhand

नहीं लगने देंगे जंगलों में आग,आधा दर्जन गांवों में लोगों ने अपने ईष्ट को साक्षी मानकर ली शपथ।

भदूड़ा। पोखरी,
‘चिपको के बाद यही पुकार जंगल नहीं जलेंगे अबकी बार’ नारे के साथ वनाग्नि रोकथाम अध्ययन और जागरूकता यात्रा देवखाल के समीप भदूड़ा गांव से शुरू हो गई।
भदूड़ा गाव में ग्राम प्रधान सुनीता देवी की अध्यक्षता में आयोजित जनजागरुकता गोष्ठी में वक्ताओं ने जंगल में आग लगे ही नहीं इसकी सामुहिक शपथ ली। अपने गांव के इष्ट देवता की शपथ लेते हुए सभी ग्रामीणों ने इस साल गांव के समीप जंगल न जलने की शपथ ली।
समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में केदारनाथ वन्यजीव वन प्रभाग के प्रभागीय वनाधिकारी इंद्र सिंह नेगी ने जंगलों में आग लगने से होने वाले नुक़सान की विस्तार से जानकारी दी और कालाडांडा के इस इलाके में आग न लगे, इसके लिए सामुहिक प्रण लेने का आह्वान किया। उन्होंने कहा कि जंगल साझी धरोहर है, इसे बचाना हम सबकी सामुहिक जिम्मेदारी है। उन्होंने कहा कि वन कर्मियों के साथ यदि सभी लोग जंगलों में आग न लगे, यह संकल्प ले लें तो निश्चित ही जंगल आग से बचेंगे। उन्होंने कहा कि
जंगल की आग से केवल पेड़ पौधे ही नहीं जलते अपितु पूरा प्राकृतिक परिवेश नष्ट होता है। हमारा यह नैतिक दायित्व है कि अपने वन और परिवेश की रक्षा करें, अपनी आने वाली पीढ़ी के लिए जंगल बचाएं।


उन्होंने ग्रामस्तर पर प्रधान की अध्यक्षता में ग्राम स्तरीय वनाग्नि सुरक्षा समिति के गठन के लिए गांव के लोगों को धन्यवाद दिया और कहा कि समिति को सक्रिय करने के साथ साथ जिस भी तरह के सहयोग की आवश्यकता होगी विभाग उसमें मदद करेगा।
इस अवसर गांव की महिला मंगल दल की अध्यक्षा श्रीमती माहेश्वरी देवी ने बताया कि उनके गांव से कभी भी आग नहीं लगती है, आग मोटर सड़क और दूसरे गांवो के जंगल से होकर उनके गांव में फैलती है।
यात्रा दल में चल रही गुड़म गांव की महिला मंगल दल की अध्यक्षा श्रीमती सावित्री देवी ने अपने गांव के अनुभव की जानकारी साझा की और कहा की जंगल हमारे जीवन के आधार है। इन्हें संरक्षण, हमारे जीवन का संरक्षण है। सभी के सहयोग से ही यह संभव है।
कार्यक्रम का संचालन विनय सेमवाल ने किया।
सीपी भट्ट पर्यावरण एवं विकास केन्द्र और दशोली ग्राम स्वराज मंडल गोपेश्वर वन विभाग तथा स्थानीय ग्राम प्रधानों के सहयोग से यह अभियान संचालित किया जा रहा है।
इस अभियान में पूर्व अध्यापक एवं वन पंचायत सोनला के सरपंच बचना सिंह रावत, केंद्र के प्रबंध न्यासी ओम प्रकाश भट्ट, महिला मंगल दल गुड़म कीअध्यक्षा
श्रीमती सावित्री देवी, श्रीमती अंजू देवी, श्रीमती मंगला देवी,श्रीमती सुनीता देवी,माया देवी, संगूड के ग्राम प्रधान संजय कुमेड़ी, एच आर डी आई गोपेश्वर के संजीव बिष्ट, बीरेंद्र सिंह, केदारनाथ वन्यजीव वन प्रभाग के वनदरोगा रावत,वन दरोगा मोहन सिंह बर्तवाल, उमेद सिंह नेगी,रजत,विपिन समेत वन विभाग के अधिकारी भागीदारी कर रहे हैं।
सोमवार को यह यात्रा भदूड़ा के बाद संगुड और फिर सांकरी और कांडई-भजेटा से गुड़म गांव पहुंची। इस दौरान आधा दर्जन स्थानों पर लोगों से संवाद किया।

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