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Uttrakhand

आज पूरा उत्तराखंड इस घृणित हत्याकांड से उबल रहा है।

महेश चंद्र

19 वर्षीय अंकिता भंडारी ने अपने गरीब परिवार की आर्थिक मदद के उद्देश्य से वननंत्रा रिसोर्ट मैं कुछ ही दिन पहले रिसेप्शनिस्ट के पद पर नौकरी शुरू की।
रिसोर्ट के मालिक ने उसे जबरदस्ती देह व्यापार के लिए मजबूर किया। विरोध करने पर उसे मार दिया गया और प्रशासन सोता रहा।


5 दिन बाद सव मिलने पर लोग सड़कों पर उतर आए। आज पूरा उत्तराखंड इस घृणित हत्याकांड से उबल रहा है।
आरोपी पुलकित आर्य ने 12 वर्ष पूर्व यम्केश्वर ब्लॉक के राजस्व क्षेत्र गंगा भोगपुर तल्ला में ग्रामीणों से भूमि खरीद कर आंवला कैंडी की फैक्ट्री लगाई। इसी फैक्ट्री की आड़ में उसने 2017-19 के बीच बिना किसी सरकारी अनुमति के एक विशाल रिसोर्ट बना दिया, जिस पर डबल इंजन की सरकार का सरकारी तंत्र आंख मूंदे बैठा रहा।
पता नहीं अंकिता भंडारी से पहले इस रिसोर्ट में कितनी युवतियों के साथ अत्याचार किए गए और विरोध करने पर कितनों को मार दिया गया? इस पर कोई सोच भी नहीं रहा है। अंकिता भंडारी तो अब वापस नहीं आ सकती लेकिन उसने अपनी रक्षा में जो बलिदान दिया है वह हमेशा याद रखा जाएगा।
इस प्रकार की दुर्घटनाएं उत्तराखंड में आगे नहीं हों इसके लिए हम सबको एकजुट होकर सरकार को जगाना होगा और डबल इंजन की सरकार में आंख मूंदे प्रशासन तंत्र की आत्मा को भी झकझोरना होगा। इसके लिए हम सबको एकजुट होकर सरकार और प्रशासन को निम्न बातों के लिए प्रेरित करना होगा:-
1- बिना किसी सरकारी स्वीकृति से बने अवैध वननंत्रा रिसोर्ट को अंकिता भंडारी कि परिवार के नाम पर ट्रांसफर कर दिया जाए और रिसोर्ट की मरम्मत करके परिवार को यह छूट दी जाये कि वह जिस प्रकार भी इस संपत्ति का उपयोग करना चाहे करे।
2- जिला पौड़ी के प्रशासन तंत्र ने रिसोर्ट के अवैध निर्माण का कोई संज्ञान नहीं लिया, जिससे इतनी बड़ी दुर्घटना हुई। अतः जिला पौड़ी के राजस्व विभाग, पर्यटन विभाग, वन विभाग एवं पुलिस विभाग के सभी कर्मचारी और अधिकारी अपने एक एक दिन का वेतन अंकिता भंडारी के परिवार को प्रायश्चित के रूप में प्रदान करें, जिससे उनकी आत्मा उन्हें आगे सजग रखे और इस प्रकार के किसी भी अनैतिक कार्य के प्रति वह समय से कार्यवाही कर सकें।
3- उत्तराखंड के सभी विधायक एवं सांसद भी एक एक दिन का वेतन अंकिता भंडारी के परिवार को दें, जिससे आगे इस प्रकार के अनैतिक कार्यों में सहयोग देने से पहले हर राजनीतिज्ञ 10 बार सोच सके।
4- आरोपी पुलकित आर्य के पिता देश की एक बहुत बड़ी संस्था एवं राजनीतिक पार्टी की बड़े नेता रहे हैं। यह संस्था और राजनीतिक पार्टी हर पल आदर्श एवं राष्ट्रवाद की बात करती है। अतः यह संस्था एवं राजनीतिक पार्टी दोनों ही अंकिता भंडारी के परिवार को अपने कोष से 5-5 करोड़ रुपए दें, जिससे आगे उनके कार्यकर्ता एवं नेता अपने को अनैतिक कार्यों से अलग करने के लिए मजबूर हो सकें।
आशा है पूरा उत्तराखंड उपरोक्त सुझावों पर एकजुट होकर प्रदेश को सकारात्मक दिशा देने का काम करेगा।

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